Wednesday, February 25, 2015

कुपोषण के मुद्दे पर एकदिवसीय सामुदायिक संवेदीकरण कार्यषाला सह बैठक का आयोजन

'सफल नेटवर्क' अंतर्गत ''अडाॅप्ट ए पंचायत'' अभियान 2015 के तहत संस्था समर्पण के द्वारा चितरपुर स्कूल प्रागंण में एकदिवसीय सामुदायिक संवेदीकरण कार्यषाला सह बैठक का आयोजन किया गया। कार्यषाला को संबोधित करते हुए अधिवक्ता षिवनंदन कुमार शर्मा ने कहा कि कुपोषण बहुत सारे सामाजिक, आर्थिक व राजनैतिक कारणों का परिणाम है। उन्होंने भूख एवं गरीबी को राजनीतिक ऐजेंडा में रखने एवं झारखंड के गांवों को कुपोषण, बाल विवाह, बाल श्रम, भेदभाव, षिषु मृत्यू से मुक्त करने के लिए समुदाय को आगे आने की बात कही।
पंचायत समिति सदस्य तारा देवी ने कहा कि कुपोषण का अर्थ है पोषण की कमी। उन्होंने कहा विभाग इसके लिए सक्रिय है लेकिन, हमलोगों के अंदर ही कमी है इसलिए हमलोग विभाग से मिलने वाली सुविधाओं का लाभ नहीं उठा पाते हैं। उन्होंने कहा कि सिर्फ दूसरे पर तोहमत लगाने मात्र से सिस्टम नहीं बदलने वाला है। उन्होंने अपने हक व अधिकारों की प्राप्ति के लिए महिला मंडल को सक्रिय व सामुहिक आवाज उठाने की बात कही। 
संस्था सचिव इन्द्रमणि साहू ने विषय प्रवेष कराते हुए कहा कि आज के समय कुपोषण अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के लिए चिंता का विषय बना हुआ है। यहां तक की विष्व बैंक ने इसकी तुलना ‘ब्लैक डेथ‘ नामक महामारी से की है। उन्होंने कहा कि आंगनबाड़ी केंद्रों में बच्चों का वजन एवं वृद्धि चार्ट निर्माण कार्य नियमित रूप से नहीं हो रहा है। ज्यादातर केंद्रों में वजन मषीन खराब पड़े हुए हैं। उन्होंने कहा कि बाल विकास परियोजना के साथ-साथ बच्चों के माता-पिता, अभिभावक, परिवार एवं समुदाय की महत्वपूर्ण भुमिका है। 
कार्यक्रम समन्वयक आषीष कुमार ने जयनगर में महिला मंडल द्वारा हो रहे साकारात्मक प्रयासों की चर्चा करते हुए कहा कि आजीविका की समस्याओं का हल करके हम इसे रोक सकते हैं। उन्होंने बाल विवाह एवं बेटियों के साथ भेदभाव नहीं करने की बात कही। 
मौके पर नये आंगनबाड़ी, नियमित टीकाकरण, वजन, ग्रोथ चार्ट, षिषु मृत्यू दर में कमी, जंगल सुरक्षा एवं पानी की समस्या के लिए जनावेदन तैयार कर उपायुक्त को सौंपने का निर्णय लिया गया। 

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